इस प्लिकेंन से पर 15 पिनिस के सार्त पर प्यक कि pdf सी ही ह.
सभी सत्संगी भई- बहनों को सप्रेम जय श् आज हम लोग आपस में एक ऐसे ग्रन्थ की चर्चक जो बहुत गुढ़ से पी ब हम साथारो सानो के सी सी सी सें भीजनी भी के बान है. यों तो भगवद भगवद गीता पर पनेक सीकाल हिल्लानो पर पर्त में की गई है. वह सब टीकाए भी हमारे लिए पूज्नीय है, पर हम जिस भगवद्गीता की टीका पर चर्चा करने जा रहे हैं वह टीका जीव मात्र के कल्याण के उद्देश्य से महापुरुषों ने अत्यन्त साधारण भाषा में लिखवाई है.